प्रोटीन के स्रोत (Protein Source) की बजाए इस प्रमुख पोषक तत्व की सही मात्रा ही मांसपेशियों (Muscles) के विकास और ताकत के लिए जरूरी है।
इसे साबित किया है ब्राजील की साओ पाउलो यूनिवर्सिटी के विशेषज्ञों ने।
कुछ स्वस्थ युवाओं पर किए गए उनके परीक्षणों से पता चलता है कि यदि लक्ष्य मांसपेशियों की ताकत और आकार बढ़ाने का हो तो प्रोटीन की मात्रा, स्त्रोत की तुलना में अधिक महत्वपूर्ण होती है।
उनके 12 सप्ताह तक चले अध्ययन में आधे शाकाहारी (Vegan) और आधे सर्वाहारी (Omnivores) युवा शामिल थे।
- Advertisement -
एक्सरसाइज करने के अलावा युवाओं ने या तो जानवरों और पौधों से मिला प्रोटीन खाया, या पूरी तरह से शाकाहारी प्रोटीन लिया।
सभी ने अपने वजन के अनुपात में प्रतिदिन 1.6 ग्राम प्रोटीन का सेवन किया।
अध्ययन के अंत में, बढ़ी हुई मांसपेशियों और ताकत के मामले में शाकाहारी और सर्वाहारी के बीच कोई अंतर नहीं था।
प्रोटीन स्रोतों को मुख्य रूप से आवश्यक अमीनो एसिड के आधार पर वर्गीकृत किया जाता है।
विशेष तौर पर ल्यूसीन (Leucine) अमीनो एसिड को मांसपेशियों के विकास में महत्वपूर्ण माना जाता है।
- Advertisement -
जानवरों से मिलने वाले प्रोटीन में पौधों से अधिक ल्यूसीन होता है। शाकाहार में कम ल्यूसीन होने के कारण इसे मांसपेशियों को बढ़ाने वाला संपूर्ण प्रोटीन नहीं माना जाता।
स्पोर्ट्स मेडिसिन में प्रकाशित अध्ययन के निष्कर्ष बताते है कि शाकाहारी भी सही मात्रा में प्रोटीन, खासकर ल्यूसीन लेकर मांसपेशियों को विकसित कर सकते है।
दूध, दाल, छोले, बींस, सोयाबीन आदि शाकाहारियों के लिए ल्यूसीन का अच्छा स्त्रोत है।
हालांकि, अधिक प्रोटीन प्राप्त करने के लिए उन्हें बड़ी मात्रा में भोजन करने की आवश्यकता होगी।
Also Read: बुढ़ापे में भी दिमाग को जवान रखना हो तो खाइए ऐसा खाना