Heart News: युवा दंपतियों के झगड़े का असर उनके दिल पर भारी पड़ सकता है, ये चेतावनी दी है एक नई स्टडी ने।
स्टडी के मुताबिक़, पति-पत्नी के मनमुटाव या घरेलू हिंसा (Domestic violence) का दुष्प्रभाव उनमें कार्डियोवैस्कुलर बीमारियों (Cardiovascular diseases) का विकास कर सकता है।
यह चौंकाने वाली जानकारी अमेरिकन हार्ट एसोसिएशन की एक स्टडी ने लगभग 30 वर्षों तक चली छानबीन के बाद दी है।
नतीजे बताते है कि अंतरंग साथी या परिवार के किसी सदस्य के साथ हिंसा की एक या अधिक घटनाओं से आहत युवा स्त्री या पुरुष को बढ़ती उम्र में दिल का दौरा, स्ट्रोक या हार्ट फेलियर हो सकता है।
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स्टडी में ऐसे सदमों से आहत स्त्रियों और पुरुषों में शराब, धूम्रपान और डिप्रेशन के अधिक मामले मिले है।
इस बारे में स्वास्थ्य शोधकर्ताओं ने साल 1985 में शुरू हुई यंग एडल्ट्स स्टडी से लिए कोरोनरी आर्टरी रिस्क डेवलपमेंट के आंकडों का मूल्यांकन किया था।
सर्वे में शामिल 18 से 30 वर्ष की आयु के 5,000 से अधिक वयस्कों में हृदय रोग के विकास में योगदान करने वाले कारणों की जांच की गई थी।
विश्लेषण में पाया गया कि स्टडी की शुरुआत में पिछले एक साल के भीतर लाइफ पार्टनर संग हिंसा के कम से कम एक मामले की सूचना देने वालों में शराब और स्मोकिंग की लत सहित डिप्रेशन की संभावना अधिक थी।
घरेलू कलह के पीड़ितों में हृदय संबंधी घटनाओं और मौत का कम से कम क्रमश: 34% और 30% जोखिम बढ़ा हुआ था।
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पिछले एक साल में पति या पत्नी में मारपीट की एक से अधिक घटना हृदय संबंधी जोखिम कारणों से मौत होने में 34% की वृद्धि करती हुई मिली।
इसके अलावा, किसी प्रिय पारिवारिक सदस्य से मारपीट वाली घटना के भुक्तभोगी में मृत्यु का जोखिम 59% तक बढ़ा हुआ था।
नतीजों को देखते हुए स्वास्थ्य विशेषज्ञों ने युवाओं में हृदय संबंधी मामलों की जांच करते समय घरेलू हिंसा की घटनाओं को भी ध्यान में रखने की सलाह दी है।