बीयर (Beer) दुनिया के सबसे पुराने और सबसे लोकप्रिय पेय पदार्थों में से एक है। इसका निर्माण हॉप के फूलों (Hops flowers) से किया जाता है।
दरअसल बीयर की विशेष खुशबू और कड़वे स्वाद के पीछे कई किस्म के हॉप फूलों का ही योगदान होता है।
लेकिन इन फूलों का अर्क अब स्वास्थ्य के लिए भी लाभदायक हो सकता है।
यह संभावना जताई है एसीएस केमिकल न्यूरोसाइंस में प्रकाशित एक हालिया स्टडी ने।
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स्टडी की मानें तो हॉप के फूलों से निकाले गए कुछ केमिकल्स अल्जाइमर रोग (Alzheimer’s disease) से बचा सकते है।
यह एक ऐसी प्रगतिशील बीमारी है जो याददाश्त और अन्य महत्वपूर्ण मानसिक कार्यों को नष्ट कर देती है।
स्टडी करने वाले इतालवी शोधकर्ताओं ने बताया है कि हॉप फूलों के केमिकल्स अल्जाइमर करने वाले अमाइलॉइड बीटा प्रोटीन के भंडारण को रोकते है।
इनकी सटीक पहचान करने के लिए रिसर्च टीम ने बीयर बनाने में उपयोग होने वाली हॉप्स की चार किस्मों की जांच की है।
लैब परीक्षणों के दौरान उन्होंने इन हॉप्स में ऐसे एंटीऑक्सीडेंट गुण पाए है जो रोगजनक अमाइलॉइड बीटा प्रोटीन को मस्तिष्क की कोशिकाओं में जमा होने से रोक सकते है।
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सबसे असरदार अर्क दक्षिण पश्चिम जर्मनी के टेटनांग प्रांत में पाए जाने वाले टेटनांग हॉप से मिला है।
इसकी गहन जांच में उच्च स्तर के पॉलीफेनोल्स मिले है, जिनमें सबसे शक्तिशाली एंटीबायोटिक और जमाव-अवरोधक प्रभाव दिखाई दिया है।
इसने उन चिकित्सकीय प्रक्रियाओं को भी प्रोत्साहित किया है जिनसे शरीर क्षतिग्रस्त न होने वाले न्यूरोटॉक्सिक प्रोटीन को भी बाहर निकालने में सक्षम हो सकता है।
सी. एलिगेंस मॉडल में टेटनांग अर्क का परीक्षण अल्ज़ाइमर से संबंधित लकवे में रक्षात्मक पाया गया है, हालांकि प्रभाव एकदम स्पष्ट नहीं मिला है।
इस खोज के बाद शोधकर्ताओं ने अधिक बीयर पीने की तो सलाह नहीं दी, लेकिन हॉप के औषधीय गुणों से अल्जाइमर विकास रोकने की संभावना बढ़ी है।
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