स्वास्थ्य के लिए उत्तम मानी गई एक्सरसाइज (Exercise) जानलेवा भी साबित हो सकती है।
इसीलिए कुछ शारीरिक समस्याओं में एक्सरसाइज करने से पहले डॉक्टरी सलाह का प्रावधान है।
लेकिन अक्सर लोग इस बचावकारी उपाय को नज़रअंदाज़ कर कठोर व्यायाम करना शुरू कर देते है।
अब एक नई स्टडी ने ज़ोरदार एक्सरसाइज के दौरान हृदय गति (Heart rate) बढ़ने से स्ट्रोक (Stroke) की संभावना जताई है।
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यह ख़तरा अत्यधिक संकीर्ण हुई कैरोटिड आर्टरीज़ (Carotid arteries) वालों को सख़्त कसरत से पाया गया है।
फिजिक्स ऑफ फ्लुइड्स जर्नल में छपी यह स्टडी भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान खड़गपुर के शोधकर्ताओं की है।
हालांकि, स्वस्थ इंसानों व कम संकीर्ण आर्टरीज़ वालों में खून का दौरा सरल बनाए रखने के लिए एक्सरसाइज ज़रूरी मिली है।
गर्दन के दोनों ओर स्थित कैरोटिड आर्टरीज़ चेहरे और दिमाग में खून का दौरा सुचारु रूप से चलाए रखती है।
फैट, कोलेस्ट्रॉल और अन्य तत्व कैरोटीड आर्टरीज़ के अंदर प्लाक निर्माण करके उन्हें संकीर्ण बना देते है।
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इससे दिमाग को खून और ऑक्सीजन की सप्लाई रुक जाती है, जिससे पीड़ित इंसान को स्ट्रोक पड़ जाता है।
स्टडी में, एक्सरसाइज-प्रेरित 140 व 67-100 बीट प्रति मिनट की रेस्टिंग हार्ट रेट का विभिन्न अवस्था वाली आर्टरीज़ पर असर देखा गया।
स्वस्थ और हल्के मामलों में की गई एक्सरसाइज से तेज हुई धड़कनों ने कैरोटीड स्वास्थ्य में सुधार किया।
लेकिन तेजी से एक्सरसाइज करते समय मध्यम रूप से संकीर्ण आर्टरीज़ पर दिखे प्रभाव चिंताजनक थे।
मध्यम या उच्च संकीर्ण आर्टरीज़ वाले इंसानों को खराब रक्त आपूर्ति के कारण इस्केमिक स्ट्रोक की संभावना अधिक थी।
यह देखते हुए कठोर व्यायाम करने वालों के लिए आर्टरीज़ स्वास्थ्य की नियमित जाँच आवश्यक बताई गई है।
इसके अलावा, स्ट्रोक पीड़ितों को भी एक्सपर्ट की देख रेख में हल्की एक्सरसाइज करने की सलाह दी गई है।
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