विटामिन बी3 (Vitamin B3) के उपभोग में वृद्धि त्वचा को पराबैंगनी किरणों (ultraviolet rays) के संपर्क में आने के कुछ प्रभावों से बचा सकती है।
नए शोध से पता चलता है कि विटामिन बी3 त्वचा की कोशिकाओं को सूर्य की अल्ट्रावायलेट किरणें से रक्षा करके हमारे शरीर की बाहरी त्वचा को हानिकारक गैर-मेलेनोमा त्वचा के कैंसर (non-melanoma skin cancers) के कुछ प्रभावों से बचा सकती है।
इस शोध को यूरोपियन एकेडमी ऑफ डर्मेटोलॉजी एंड वेनेरोलॉजी (European Academy of Dermatology and Venereology -EADV) की 29 वीं EADV वर्चुअल कांग्रेस में प्रस्तुत किया गया।
शोध के लिए इटली में शोधकर्ताओं ने गैर-मेलेनोमा त्वचा के कैंसर वाले रोगियों की त्वचा से कोशिकाओं (मानव प्राथमिक केराटिनोसाइट्स) को अलग कर जांच की। केराटिनोसाइट्स (keratinocytes) एपिडर्मिस (epidermis) में पाए जाने वाली प्रथम प्रकार की कोशिका है, जो त्वचा की सबसे बाहरी परत है। मनुष्यों में ये 90% बाहरी त्वचा कोशिकाओं का निर्माण करती हैं।
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इन कोशिकाओं को निकोटिनामाइड (Nicotinamide) (विटामिन बी3 का एक रूप) के तीन अलग-अलग कंसन्ट्रेशन्स में 18, 24 और 48 घंटों के लिए रखा गया और फिर यूवीबी (UVB) किरणों के संपर्क में लाया गया।
यूवीबी किरणों में यूवीए (UVA) किरणों की तुलना में थोड़ी अधिक ऊर्जा होती है। वे सीधे त्वचा कोशिकाओं में डीएनए को नुकसान पहुंचा सकते हैं, और ये मुख्य किरणें हैं जो सनबर्न (sunburn) का कारण बनती है।
परिणाम बताते हैं कि यूवी विकिरण के 24 घंटे पहले हुए 25 मिमी निकोटिनामाइड के पूर्व उपचार ने डीएनए के नुकसान सहित यूवी से होने वाले ऑक्सीडेटिव तनाव के प्रभाव से त्वचा की कोशिकाओं की रक्षा की।
इस अध्ययन से संकेत मिलता है कि विटामिन बी3 की दैनिक आहार में वृद्धि कर त्वचा को संभवतः गैर-मेलेनोमा त्वचा के कैंसर की घटनाओं को कम किया जा सकता है। हालांकि, विटामिन बी3 का सुरक्षात्मक प्रभाव थोड़े समय के लिए ही होता है, इसलिए इसे सूरज निकलने के 24 से 48 घंटे पहले नहीं खाना चाहिए।
विटामिन बी3 के मुख्य स्त्रोत में अंडे, मछली, मूंगफली, मटर और मशरूम शामिल है।